ए कवसट ऑफ हरज. Морган Райс
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थोर ने थूक निगला। गहरे जंगल में जाने की इजाजत नहीं थी – भेड़ ही नहीं बल्कि इंसानों को भी। यह गाँव की सीमा से बाहर था, जब से उसने चलना सीखा है तब से थोर जानता था वहाँ जाना मना है। वो वहाँ कभी नहीं गया था। ने कहानियों में कहा गया है कि वहाँ जाने का मतलब है निश्चित मौत, यह जंगल अगोचर और शातिर जानवरों से भरा हुआ था।
थोर ऐसे ही विचार करते हुए काले आसमान की ओर देखने लगा। वो अपने भेड़ को यूं ही नहीं जाने दे सकता था। वो सोचने लगा यदि थोड़ी और तेज चला जाए तो हो सकता है उसे समय पर वापिस ला सकूं।
एक आखिरी बार उसने मुड़ कर देखा और फिर पश्चिम की ओर गहरे जंगल की तरफ़ भागने लगा, ऊपर घने बादल छाये हुए थे। उसे कुछ अच्छा नहीं लग रहा था, ऐसा लग रहा था मानो उसके अपने पैर उसे कहीं लिए जा रहे थे। उसे एहसास हुआ वह चाहे तो भी अब वापिस नहीं जा सकता था।
यह सब एक दुःस्वप्न जैसा लग रहा था।
*
थोर बिना रुके कई पहाड़ियों को पार करते हुए घने जंगलों में पहुँच गया, जहां जंगल शुरू होता था वहीँ जाकर निशान ख़त्म हो गए थे, और वह अब भागता हुआ एक गुमनाम क्षेत्र में पहुँच गया था, पत्तियाँ उसके पैरो तले चर-मरा रही थी।
जैसे ही उसने जंगल में कदम रखा, उसे अँधेरे ने जैसे घेर लिया, उसके ऊपर इतने ऊंचे पेड़ थे जो रौशनी को रोक रहे थे। यहाँ ठण्ड काफी थी, और जैसे ही उसने सीमा पार की उसने भी सिहरन महसूस की। यह सिहरन ठण्ड से या अँधेरा से नहीं थी यह तो कुछ और था। कुछ ऐसा जिसे वो नाम नहीं दे पा रहा था। कुछ ऐसा मानो जैसे कोई उस पर नज़र रख रहा हो।
थोर ने लहराते और हवा में चरमराती हुई प्राचीन शाखाओं को देखा। वह मुश्किल से पचास कदम